November 16, 2025
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पांच दिवसीय अनुष्ठान 30 अक्टूबर से, श्यामसुंदरदास जी महाराज ने ध्वज पूजन से कार्यक्रम का किया आगाज

मरुधर गूंज, बीकानेर (26 अक्टूबर 2025)।

सनातन धर्म आगे बढ़ता रहे, पीढिय़ों में संस्कार जगे यही उद्देश्य संतों और धर्मानुरागी बंधुओं का रहता है। यह उद्गार मुरलीमनोहर धोरा के संत श्री श्यामसुंदरदास जी महाराज ने बीकानेर में 30 अक्टूबर से होने जा रहे 21 कुंडात्मक रुद्रचंडी महायज्ञ एवं शिवशक्ति मंत्र अनुष्ठान के तहत शनिवार को ध्वजपूजन के दौरान व्यक्त किए। श्री श्यामसुंदरदास जी महाराज ने कहा कि बच्चों को धर्म और संस्कारों का ज्ञान देंगे तो पीढिय़ों का भविष्य भी स्वर्णिम बनेगा। इसलिए शिक्षा के साथ-साथ अध्यात्मिक ज्ञान भी बेहद जरुरी है। उन्होंने कहा कि ज्योतिषाचार्य पं. बाबूलाल शास्त्री ज्योतिष बोध संस्थान के तत्वावधान में 30 अक्टूबर से 3 नवम्बर तक यज्ञाचार्य पं. राजेन्द्र किराड़ू द्वारा आयोजित 21 कुंडात्मक रुद्रचंडी महायज्ञ एवं शिवशक्ति मंत्र नित्य शिवाभिषेक अनुष्ठान वातावरण को सकारात्मक तो बनाएगा ही साथ ही जन कल्याण के उद्देश्य को भी पूरित करेगा।

यज्ञाचार्य पं. राजेन्द्र किराड़ू ने बताया कि पांच दिवसीय इस आयोजन की शुरुआत शनिवार को ध्वज पूजन के साथ हुई। इस दौरान पं. सुशील किराड़ू, पं. विमल किराड़ू, पं. अशोक किराड़ू, पं. ओंकारनाथ हर्ष, पं. मनमोहन हर्ष, पं. मुरलीधर पुरोहित, पं. उमेश किराड़ू, पं. मिलन पुरोहित, पं. मदनगोपाल व्यास, पं. संतोष व्यास, देवकीनंदन व्यास, जुगलकिशोर पुरोहित, सेठी किराड़ू, कैलाश भादाणी द्वारा बैनर का विमोचन किया गया।

पत्रकारों को जानकारी देते हुए पं. सुशील किराड़ू ने बताया कि सवा करोड़ शिव पंचाक्षरी मंत्र का जप 108 ब्राह्मणों द्वारा तथा 21 यजमानों द्वारा 21 कुंडीय महायज्ञ में आहुतियों के साथ होगा। पं. किराड़ू ने बताया कि पांच दिवसीय इस आयोजन से अमरेश्वर महादेव मंदिर हर्षोलाव परिसर शिव व शक्ति मय हो जाएगा। रुद्रचंडी महायज्ञ में आहुतियों एवं शिव पंचाक्षर मंत्रों की गूंज सकारात्मकता का संचार करेगी। इस दौरान रोजाना अक्षतार्चन, पुष्पार्चन, बिल्वार्चन, कमलार्चन, भस्मार्चन, मंत्र पुरश्चरण, दीपदान, आरती के आयोजन होंगे।

संतों का मिलेगा आशीर्वचन

पं. विमल किराड़ू ने बताया कि 21 यजमानों में लगभग 10 यजमान प्रवासी बीकानेर हैं जिन्होंने जन कल्याण के भाव से इस अनुष्ठान में शामिल होना अपना सौभाग्य बताया। पांच दिवसीय इस अनुष्ठान में प्रत्येक दिन संत-सान्निध्य भी मिलेगा जिसमें महामंडलेश्वर राजगुरु श्री विशोकानंदजी महाराज, नवलेश्वर मठ से श्री शिवसत्यनाथजी महाराज, केदारघाट बनारस से श्री सर्वेश्वरानन्दजी सरस्वती, करपात्री संस्कृति विद्यालय बीकानेर से श्रीधरानन्दसरस्वती जी महाराज, शिवबाड़ी शिवमठ से श्री विमर्शानंद गिरि महाराज एवं मुरलीमनोहर धोरा के श्री श्यामसुंदरदास जी महाराज अपना आशीर्वचन देंगे।